प्रेगनेंसी के पहले तीन महीने बेहद खास और रिस्की होते हैं, इसलिए किसी से प्रेगनेंसी पर ज्यादा सलाह लेने की बजाय डॉक्टर पर ही भरोसा करें।

डॉक्टर की सलाह से ही खानपान, नींद और एक्सरसाइज का रूटीन बनाएं. तीनों ही आपकी और बच्चे की सेहत के लिए जरूरी हैं।

उल्टी, जी घबराना, मॉर्निंग सिकनेस या कब् जैसी समस्याएं प्रेगनेंसी में नॉर्मल हो सकती हैं, लेकिन ज्यादा परेशानी होने पर तुरंत डॉक्टर से मिलें और उन्हीं के हिसाब से डाइट बनाएं।

पेट के निचले हिस्से में दर्द, स्पॉटिंग यानी हल्की ब्लीडिंग या खून दिखे या तेज कमर दर्द हो तो नजरअंदाज करने की बजाय डॉक्टर से जाकर मिलना चाहिए।

पेट के निचले हिस्से में दर्द, स्पॉटिंग यानी हल्की ब्लीडिंग या खून दिखे या तेज कमर दर्द हो तो नजरअंदाज करने की बजाय डॉक्टर से जाकर मिलना चाहिए।

ज्यादा कॉफी, मीठा या कोल्ड ड्रिंक्स न पिएं सिगरेट, शराब पीती हैं तो तुरंत छोड़ दें।

पहले तीन महीने में ज्यादा काम या एक्जर्शन से बचें ज्यादा सफर न करें और बीच-बीच में आराम करें।

स्ट्रेस, तनाव से खुद को बचाएं. इसका असर मां और बच्चे की सेहत पर पड़ सकता है मेडिटेशन करें, गाने सुनें, कुछ क्रिएटिव चीजें करें।